गोरेगांव में पीपल के पेड़ की बड़ी टहनी घर पर गिरी ; छत क्षतिग्रस्त
A large branch of a peepal tree fell on a house in Goregaon; the roof got damaged
गोरेगांव (पश्चिम) के जवाहर नगर में रविवार शाम पीपल के पेड़ की एक बड़ी सूखी टहनी एक घर पर गिर गई। गनीमत रही कि इस हादसे में कोई हताहत नहीं हुआ। हालांकि, घर की छत क्षतिग्रस्त हो गई। निवासियों का आरोप है कि उनके अनुरोध के बावजूद नगर पालिका ने इस पेड़ की टहनी काटने में देरी की है। जवाहर नगर में देवकृपा बिल्डिंग के परिसर में पिछले कई वर्षों से एक पीपल का पेड़ है, जिसकी परिधि लगभग 5-6 मीटर और ऊंचाई 45-50 मीटर है।
मुंबई : गोरेगांव (पश्चिम) के जवाहर नगर में रविवार शाम पीपल के पेड़ की एक बड़ी सूखी टहनी एक घर पर गिर गई। गनीमत रही कि इस हादसे में कोई हताहत नहीं हुआ। हालांकि, घर की छत क्षतिग्रस्त हो गई। निवासियों का आरोप है कि उनके अनुरोध के बावजूद नगर पालिका ने इस पेड़ की टहनी काटने में देरी की है। जवाहर नगर में देवकृपा बिल्डिंग के परिसर में पिछले कई वर्षों से एक पीपल का पेड़ है, जिसकी परिधि लगभग 5-6 मीटर और ऊंचाई 45-50 मीटर है। वर्तमान में यह पेड़ पूरी तरह से सूख चुका है और इसकी शाखाएं इमारत से सटे चॉल में स्थित घर पर फैल गई हैं। इससे निवासियों की जान को खतरा पैदा हो गया है। इसी बीच 19 अक्टूबर को पेड़ की सूखी टहनी चॉल में स्थित एक घर पर गिर गई। निवासियों ने सूखे पेड़ की छंटाई के संबंध में देवकृपा बिल्डिंग से अनापत्ति प्रमाण पत्र लिया है और नगर पालिका प्रशासन से टहनियों की छंटाई की मांग की है।
हालांकि, उन्हें नगर पालिका से कोई सकारात्मक जवाब नहीं मिला है। रविवार शाम को अचानक क्षेत्र में एक पेड़ की बड़ी टहनी एक मकान पर गिर गई। टहनी ने मकान की छत तोड़ दी। हादसे की सूचना मिलते ही दमकल कर्मी और संबंधित नगर निगम विभाग कार्यालय के कर्मचारी मौके पर पहुंचे और टूटी टहनी को दुर्घटनास्थल से हटाया। गनीमत रही कि हादसे में कोई हताहत नहीं हुआ। हालांकि पेड़ की अभी पूरी तरह से छंटाई नहीं की गई है, जिससे निवासियों की जान को खतरा बना हुआ है। नगर निगम से पेड़ की छंटाई के लिए कई बार अनुरोध किया जा चुका है। लेकिन नगर निगम ने इसे नजरअंदाज कर दिया।
जब हादसा हुआ तो नगर निगम के कर्मचारी तुरंत पहुंचे। हालांकि अनुरोध के बाद तुरंत इसकी छंटाई करना जरूरी था। निवासियों का आरोप है कि नगर निगम के काम में देरी के कारण यह हादसा हुआ। इस बीच नगर निगम ने पेड़ की छंटाई की अनुमति पहले ही दे दी है। चूंकि यह पेड़ निजी भूखंड पर है, इसलिए इसकी छंटाई की जिम्मेदारी नगर निगम की नहीं है। नगर निगम से अनुमति मिलने के बाद निवासी किसी से भी पेड़ की छंटाई करवा सकते हैं। नगर निगम भी एक निश्चित शुल्क लेकर पेड़ की छंटाई करवाता है। हालांकि, नगर पालिका के पी-दक्षिण डिवीजन कार्यालय के अधिकारियों ने बताया कि निवासियों ने इस संबंध में नगर पालिका से संपर्क नहीं किया है।
Comment List