महाराष्ट्र में 1 करोड़ रुपये रिश्वत लेना पड़ा भारी... रंगे हाथ पकड़ा गया असिस्टेंट इंजीनियर
Taking bribe of Rs 1 crore in Maharashtra proved costly...Assistant engineer caught red handed
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भ्रष्टाचार निरोधक विभाग ने शिकायतकर्ता को धैर्य रखने और आरोपी द्वारा मांगी गई राशि का भुगतान करने के लिए कहा और इस तरह उसे पकड़ने के लिए जाल बिछाया। शुक्रवार शाम को नगर-छत्रपति संभाजी नगर रोड पर शेंडी बाईपास पर पैसे स्वीकार करने का निर्णय लिया गया। तदनुसार, गायकवाड़ सड़क के किनारे आनंद सुपर मार्केट की खुली जगह पर आये। उन्हें नासिक की एक टीम ने रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों पकड़ा था।
महाराष्ट्र : महाराष्ट्र में रिश्वतखोरी की घटनाएं सामने आ रही है। ऐसे में अब महाराष्ट्र में रिश्वतखोरी निरोधक विभाग ने रिश्वतखोर अधिकारियों को रोकने के लिए एक अभियान शुरू किया है। एक तरफ जहां नांदेड़ के एक इंजीनियर के रिश्वत लेते पकड़े जाने की घटना ताजा है, वहीं अहमदनगर में भी बड़ी कार्रवाई हुई है, जिसकी चर्चा अब पुरे महाराष्ट्र में हो रही है। सामने आई जानकारी के मुताबिक, आपको बता दें की अहमदनगर में महाराष्ट्र औद्योगिक क्षेत्र औद्योगिक विकास निगम के एक सहायक इंजीनियर को 1 करोड़ रुपये की रिश्वत लेते रंगे हाथों पकड़ा गया है। नासिक में भ्रष्टाचार निरोधक विभाग की पुलिस अधीक्षक शर्मिष्ठा वल्हावरकर की टीम ने शुक्रवार शाम को यह कार्रवाई की है, अब इसकी चर्चा हर जगह हो रही है।
बता दें कि रिश्वत लेने वाले सहायक अभियंता का नाम अमित गायकवाड़ है इसकी उम्र 32 वर्ष है और ये नागपुर का रहनेवाला है। इस संबंध में नागपुर एमआईडीसी पुलिस स्टेशन में मामला दर्ज किया गया था। प्राप्त जानकारी के अनुसार, अहमदनगर के औद्योगिक विकास निगम के तहत शिकायतकर्ता ठेकेदार ने 100 मिमी व्यास की पाइपलाइन बिछाने का काम किया था। जानकारी के मुताबिक , इस काम का बिल 2 करोड़ 99 लाख रुपये था। फिर यह काम पूरा होने के बाद शिकायतकर्ता ने बिल की मांग की। तत्कालीन सहायक अभियंता अमित गायकवाड़ ने शिकायतकर्ता से पिछले बिल को बाहर निकालकर तत्कालीन उप अभियंता गणेश वाघ के हस्ताक्षर कराने के लिए 1 करोड़ रुपये की रिश्वत की मांग की थी। ऐसे में उन्हें इस मामले में रंगेहाथ पकड़ा गया है।
चूंकि शिकायतकर्ता रिश्वत नहीं देना चाहता था, इसलिए उसने नासिक भ्रष्टाचार निरोधक विभाग को इसकी सूचना दी। भ्रष्टाचार निरोधक विभाग ने शिकायतकर्ता को धैर्य रखने और आरोपी द्वारा मांगी गई राशि का भुगतान करने के लिए कहा और इस तरह उसे पकड़ने के लिए जाल बिछाया। शुक्रवार शाम को नगर-छत्रपति संभाजी नगर रोड पर शेंडी बाईपास पर पैसे स्वीकार करने का निर्णय लिया गया। तदनुसार, गायकवाड़ सड़क के किनारे आनंद सुपर मार्केट की खुली जगह पर आये। उन्हें नासिक की एक टीम ने रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों पकड़ा था।
फिर देर रात तक इस घटना का पंचनामा चल रहा था। इस मामले में नागपुर एमआईडीसी पुलिस स्टेशन में मामला दर्ज किया गया है। इस बीच गिरफ्तार अमित गायकवाड़ ने कबूल किया है कि इन मामलों में तत्कालीन इंजीनियर गणेश वाघ की भी 50% हिस्सेदारी थी। इस तरह इतने बड़े रिश्वतखोरी का भंडाफोड़ किया गया।
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