महाराष्ट्र के अमरावती में मुकाबला बहुकोणीय, आनंदराज आंबेडकर ने AIMIM से समर्थन मांगा...
The contest in Maharashtra's Amravati is multi-cornered, Anandraj Ambedkar sought support from AIMIM...
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औरंगाबाद (छत्रपति संभाजीनगर) के सांसद और ऑल इंडिया मजलिस ए इत्तेहादुल मुस्लिमीन (एआईएमआईएम) के नेता इम्तियाज जलील ने एक्स पर कहा कि लोकसभा चुनाव में समर्थन मांगने के लिए आनंदराज आंबेडकर ने उनसे उनके आवास पर मुलाकात की. इम्तियाज जलील ने बताया कि हम पार्टी अध्यक्ष असदुद्दीन ओवैसी को लोकसभा चुनाव में आनंदराज आंबेडकर को समर्थन देने को लेकर चर्चा करेंगे.
अमरावती : महाराष्ट्र के अमरावती लोकसभा सीट से डॉक्टर बाबासाहेब आंबेडकर के पोते और रिपब्लिकन सेना नेता आनंदराज आंबेडकर चुनावी मैदान में हैं. ऐसे में अब अमरावती में मुकाबला बहुकोणीय हो गया है. यहां बीजेपी ने मौजूदा सांसद नवनीत राणा को मैदान में उतारा है, जबकि कांग्रेस के बलवंत वानखेड़े, वंचित बहुजन अघाड़ी की प्राजक्ता पिल्लेवान और प्रहार जनशक्ति पार्टी के नेता दिनेश बूब भी चुनावी मैदान में हैं. वहीं इस बीच आनंदराज आंबेडकर ने असदुद्दीन ओवैसी के नेतृत्व वाली एआईएमआईएम से समर्थन मांगा है.
औरंगाबाद (छत्रपति संभाजीनगर) के सांसद और ऑल इंडिया मजलिस ए इत्तेहादुल मुस्लिमीन (एआईएमआईएम) के नेता इम्तियाज जलील ने एक्स पर कहा कि लोकसभा चुनाव में समर्थन मांगने के लिए आनंदराज आंबेडकर ने उनसे उनके आवास पर मुलाकात की. इम्तियाज जलील ने बताया कि हम पार्टी अध्यक्ष असदुद्दीन ओवैसी को लोकसभा चुनाव में आनंदराज आंबेडकर को समर्थन देने को लेकर चर्चा करेंगे.
इम्तियाज जलील ने कहा कि आनंदराज वंचित बहुजन अघाड़ी नेता प्रकाश आंबेडकर के भाई हैं. आनंदराज और मेरी मुलाकात हुई, जहां हमने लोकसभा चुनाव के बारे में चर्चा की. जलील ने आगे कहा कि उन्होंने अमरावती लोकसभा क्षेत्र में हमारा समर्थन मांगा है.
हम एआईएमआईएम अध्यक्ष ओवैसी के साथ चर्चा के बाद आनंदराज के लिए सार्वजनिक रैलियां कर सकते हैं. अमरावती लोकसभा सीट के अंतर्गत 6 विधानसभा क्षेत्र आते हैं. इनमें बड़नेरा, अमरावती, तिवसा, दर्यापुर, मेलघाट, अचलपुर शामिल हैं. अमरावती, दर्यापुर, मेलघाट विधानसभा सीट पर बीजेपी कब्जा रहा है, तो वहीं तिवसा सीट पर कांग्रेस का दबदबा रहा. बड़नेरा और अचलपुर सीट पर निर्दलीय काबिज रही.
अमरावती लोकसभा सीट की खास बात यह है कि जितनी बार भी यहां से प्रमुख दलों की महिला प्रत्याशी उतरीं, उन्हें जीत मिली. आंकड़ों पर नजर डालें तो कांग्रेस से पहली बार ऊषा चौधरी को 1980 में अमरावती लोकसभा सीट से चुनाव मैदान में उतारा गया और वह जीतकर संसद पहुंचीं. वहीं 1991 में प्रतिभा पाटिल को कांग्रेस ने टिकट दिया, तो उन्होंने शिवसेना के प्रकाश पाटिल को हराया. हालांकि, इस सीट से प्रतिभा पाटिल केवल एक ही बार चुनाव लड़ीं थी.
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