2 करोड़ की आबादी वाले मुंबई के कितने लोगों को शिकार बना चुके हैं साइबर क्रिमिनल्स?
How many people of Mumbai with a population of 2 crore have been victimized by cybercriminals?
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मुंबई पुलिस की साइबर क्राइम ब्रांच ने इस साल सितंबर तक 3,668 मामले दर्ज किए हैं, जिनमें से 1,073 मामले ऑनलाइन या क्रेडिट कार्ड धोखाधड़ी के हैं। एक पुलिस अधिकारी ने बताया कि 3,668 मामलों में से 214 को सुलझा लिया गया और 334 लोगों को गिरफ्तार किया गया।
मुंबई : मुंबई पुलिस की साइबर क्राइम ब्रांच ने इस साल सितंबर तक 3,668 मामले दर्ज किए हैं, जिनमें से 1,073 मामले ऑनलाइन या क्रेडिट कार्ड धोखाधड़ी के हैं। एक पुलिस अधिकारी ने बताया कि 3,668 मामलों में से 214 को सुलझा लिया गया और 334 लोगों को गिरफ्तार किया गया।
अश्लील ईमेल MMS पोस्ट के मामले भी बढ़े- एक पुलिस अधिकारी ने कहा, "वर्तमान में मुंबई की आबादी दो करोड़ से अधिक है और साइबर अपराध से जुड़े मामले दिन-ब-दिन बढ़ते जा रहे हैं। इसलिए, कांस्टेबलों सहित 220 पुलिसकर्मियों को ऐसे मामलों से निपटने के लिए ट्रेंड किया जा रहा है।" पुलिस अधिकारी के अनुसार कुल मामलों में से 299 अश्लील ईमेल या एमएमएस पोस्ट से संबंधित मिले, जिसमें 94 लोगों को गिरफ्तार किया गया था।
फेक सोशल मीडिया प्रोफाइल या ई-मेल मॉर्फिंग के लिए 108 मामले दर्ज किए गए और 25 लोगों को गिरफ्तार किया गया। क्रेडिट कार्ड या ऑनलाइन धोखाधड़ी से संबंधित 1,073 मामले दर्ज किए गए, जिसमें 16 लोगों को गिरफ्तार किया गया। इसके अलावा धोखाधड़ी के 1,141 मामले दर्ज किए गए, जिसमें 41 लोगों को गिरफ्तार किया गया था।
कंप्यूटर सोर्स कोड से छेड़छाड़ के सात मामले, फिशिंग या स्पूफिंग मेल के 31 मामले, पोर्नोग्राफी के 22 मामले, हैकिंग के 46 मामले, गिफ्ट फ्रॉड के 66 और खरीद फरोख्त के 154 मामले दर्ज किए गए थे। जॉब फ्रॉड के 85 मामले, 16 बीमा धोखाधड़ी, चार एडमिशन फ्रॉड, 47 फर्जी वेबसाइट, 27 मेट्रीमोनियल फ्रॉड, 16 क्रिप्टो करेंसी धोखाधड़ी, 96 लोन फ्रॉड, 143 डेटा चोरी, 65 सेक्सटॉर्शन सहित अन्य मामले साइबर द्वारा दर्ज किए गए थे।
पिछले दिनों मुंबई पुलिस के साइबर शाखा ने 4 ऐसे आरोपियों को पकड़ा था, जो लोगों के साथ जॉब फ्रॉड करते थे। ये चारों अभियुक्त अलग-अलग देश के हैं। एक अभियुक्त ज़ाम्बिया, दो महिला अभियुक्त यूगांडा और नामीबिया और चौथा अभियुक्त घाना से है।
पुणे साइबर DCP बालसिंग राजपूत ने बताया कि ये लोगों को US जाने के लिए वीजा और वहां नौकरी देने के लिए पैसा मांगते थे। इस केस के फरियादी से इन्होंने 26 लाख रुपए लिए थे। ये दूसरे के नाम के बैंक खाते, मेल आईडी और नंबर का इस्तेमाल करते थे।
ये 2 लाख लोगों के साथ जॉब फ्रॉड और 1 लाख से अधिक लोगों से अलग तरीके से धोखाधड़ी करने वाले थे। इन्हें 22 तारीख को पुणे से पकड़ा गया है और अभी पुलिस हिरासत में हैं। DCP ने कहा-"हमें पता चला है कि इन्होंने और जगहों पर भी धोखाधड़ी की है, हम पता लगा रहे हैं।"
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