कांग्रेस अब काफी हद तक हो गई है वामपंथी - मिलिंद देवरा
Congress has now become leftist to a great extent - Milind Deora
वर्ष 2004 से 2014 तक दक्षिण मुंबई से लोकसभा सदस्य रहे देवरा ने कहा कि पूर्व प्रधानमंत्री डॉ. मनमोहन सिंह सहित कांग्रेस के कई नेता पार्टी के मौजूदा आर्थिक दृष्टिकोण से इत्तेफाक नहीं रखते। उन्होंने कहा कि यह वही कांग्रेस है, जिसने तत्कालीन प्रधानमंत्री पीवी नरसिम्हा राव और मनमोहन सिंह की अगुवाई में 1991 में आर्थिक सुधार लागू किये थे। शिवसेना सांसद ने कहा, ''लेकिन कांग्रेस अब उन सुधारों से दूर भाग रही है, कतरा रही है।''
मुंबई: शिवसेना के राज्यसभा सदस्य मिलिंद देवरा ने दावा किया कि किसी जमाने में आर्थिक सुधारों की शुरुआत करने वाली कांग्रेस का वर्तमान में विभाजनकारी आर्थिक एजेंडा है, जो भारत के आर्थिक विकास को पटरी से उतारना चाहता है। देवरा ने कहा कि कांग्रेस अब काफी हद तक वामपंथी हो गई है और उन नीतियों के बारे में बात करती है, जो वामपंथ और समाजवाद से प्रेरित हैं और ये दोनों ही विचारधाराएं दुनिया भर में विफल रही हैं। देवरा ने कहा कि कांग्रेस को उन नीतियों के बारे में बात करनी चाहिए, जो ईंधन नवाचार और निवेश को बढ़ाये।
इस वर्ष जनवरी में कांग्रेस छोड़ कर महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के नेतृत्व वाली शिवसेना में शामिल हुए देवरा ने कहा कि 1991 के आर्थिक सुधार, पिछले 60 से 70 वर्षों की कांग्रेस की नीतियों ने व्यापारियों और धन सृजनकर्ताओं को पनपने का मौका दिया। पूर्व केंद्रीय मंत्री ने दावा किया कि अब कांग्रेस पार्टी उन्हें नाम से पुकारने, उन्हें गालियां देने और उनकी आलोचना करने की कोशिश कर रही है।
देवरा ने दावा किया, ''यह इस बात का संकेत है कि कांग्रेस अपनी ही बनाई हुई परंपरा से दूर भाग रही है।'' उन्होंने कहा, ''किसी जमाने में कांग्रेस के पास भारत को आगे ले जाने का आर्थिक एजेंडा था। आज मुझे लगता है कि कांग्रेस का आर्थिक एजेंडा विभाजनकारी है, जो भारत के आर्थिक विकास को पटरी से उतारना चाहता है। आज भारत में वाकई दिलचस्प बयार चल रही है और दुनिया चीन से हटकर भारत में निवेश करना चाहती है।'' मनमोहन सिंह सरकार में केंद्रीय मंत्री रहे देवरा ने कहा, ''हमें इस मौके का फायदा उठाना चाहिए।''
वर्ष 2004 से 2014 तक दक्षिण मुंबई से लोकसभा सदस्य रहे देवरा ने कहा कि पूर्व प्रधानमंत्री डॉ. मनमोहन सिंह सहित कांग्रेस के कई नेता पार्टी के मौजूदा आर्थिक दृष्टिकोण से इत्तेफाक नहीं रखते। उन्होंने कहा कि यह वही कांग्रेस है, जिसने तत्कालीन प्रधानमंत्री पीवी नरसिम्हा राव और मनमोहन सिंह की अगुवाई में 1991 में आर्थिक सुधार लागू किये थे। शिवसेना सांसद ने कहा, ''लेकिन कांग्रेस अब उन सुधारों से दूर भाग रही है, कतरा रही है।''
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