मुंबई/ 25 साल पुराने दोस्त ने फेका तेजाब...सामाजिक कार्यकर्ता महिला की मौत!
Mumbai/ 25 year old friend threw acid... social worker woman died!

मुंबई में सामाजिक कार्यकर्ता गीता वीरकर (54) पर गुरुवार (2 फरवरी) को उसके 25 साल पुराने दोस्त ने तेजाब फेंक दिया. इलाज के दौरान वीरकर की मौत हो गई. मामला दक्षिण मुंबई के कालबादेवी के फनसवाड़ी इलाके का है. सूत्रों ने बताया की गीता वीरकर पर उसके दोस्त महेश पुजारी (62) ने सल्फ्यूरिक एसिड फेंका था.
मुंबई : मुंबई में सामाजिक कार्यकर्ता गीता वीरकर (54) पर गुरुवार (2 फरवरी) को उसके 25 साल पुराने दोस्त ने तेजाब फेंक दिया. इलाज के दौरान वीरकर की मौत हो गई. मामला दक्षिण मुंबई के कालबादेवी के फनसवाड़ी इलाके का है. सूत्रों ने बताया की गीता वीरकर पर उसके दोस्त महेश पुजारी (62) ने सल्फ्यूरिक एसिड फेंका था. इस मामले में पुलिस ने महेश को गिरफ्तार कर आगे की जांच शुरू कर दी है.
गीता वीरकर ने क्या कहा था?
गीता वीरकर ने इलाज के दौरान पुलिस को बताया कि महेश पुजारी (62) उससे हमेशा झगड़ा करता था. यह लड़ाई इसलिए होती थी क्योंकि वो उसे शराब पीने और ताश खलने के लिए पैसे देने से मना करती थी. पुलिस ने जानकारी दी कि 13 जनवरी की सुबह जब वीरकर पानी भरने बाहर आई तो उन पर तेजाब फेंक दिया गया. इसके बाद आरोपी महेश पुजारी को गीता के बेटों ने पकड़कर पुलिस को सौंपा.
एसिड अटैक के तुरंत बाद वीरकर को भाटिया अस्पताल ले जाया गया. इसके बाद 14 जनवरी को मसीना हॉस्पिटल में शिफ्ट किया गया था, जहां उनका इलाज पिछले 18 दिनों तक चला और सोमवार को उनकी मौत हो गई. तेजाब हमले की वजह से गीता के पूरे चेहरे पर चोट के निशान आ गए थे और उसकी दोनों पलकें और आंखें भी कुछ जल गई थीं. इसके अलावा महिला की छाती, पीठ, ऊपरी और निचले अंगों के साथ-साथ हाथ भी 40 से 50 फीसदी तक जल गया था.
एलटी मार्ग पुलिस स्टेशन की एक अधिकारी ने बताया की इस मामले में पीड़िता के मरने से पहले पुजारी को गिरफ्तार कर उसके ख़िलाफ़ हत्या की कोशिश का मामला दर्ज किया गया था. अब गीता की मौत हो गई तो पुजारी के ख़िलाफ़ मर्डर का केस दर्ज किया गया है. आरोपी ने पुलिस को पूछताछ में बताया कि उसने एसिड पायधूनी मार्केट से खरीदा था.
गीता ने इलाज के दौरान पुलिस को बताया कि 2 जनवरी को महेश उनसे पैसे मांगने आया था, लेकिन उनके पास पैसे नहीं थे. इसके बाद महेश 10 जनवरी की रात 9:30 बजे घर आया और पैसे मांगने लगा. उन्होंने आगे बताया था कि पुजारी मेरे साथ मारपीट करता था. इस वजह से उसे मैंने रहने नहीं दिया. रात भर घर के बाहर से वो गाली बकता रहा.
सुबह गीता का बड़ा बेटा आया और उसने महेश को 5 हजार रुपये दिए. इसके बाद वो वहां से चला गया. पैसे ना मिलने और रात में घर के बाहर बैठने के कारण महेश ग़ुस्से में था और उसे बदला लेना था.
गीता 13 जनवरी की सुबह 5:30 बजे पानी भरने के किए घर से बाहर निकली. इस दौरान महेश वहां एसिड लिए पहुंचा और अंधेरे में छिप गया. इसके बाद गीता के लाइट जलाने पर महेश ने एसिड उसके ऊपर फेंकना शुरू कर दिया.
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